उत्तरकाशी व किन्नौर को आपस में जोड़ने वाले ट्रेकों पर अब ट्रेकिंग नहीं हो सकेगी। किन्नौर प्रशासन ने इन ट्रेकों पर ट्रेकिंग प्रतिबंधित कर दी है। यह निर्णय इन ट्रेकों पर हो रही मौतों को देखते हुए लिया गया है। किन्नौर उपायुक्त ने जिलाधिकारी उत्तरकाशी को भी इस संबंध में पत्र भेजा है।
बता दे की पत्र में यह भी लिखा गया है कि प्रतिबंध का उल्लंघन करने पर सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी। वहीं उत्तरकाशी जिला प्रशासन का कहना है कि यदि किन्नौर प्रशासन अनुमित देगा तो ट्रेकरों को जाने दिया जाएगा। बीते कुछ दिन पूर्व जनपद के लिवाड़ी गांव से तीन ट्रेकरों व छह पोर्टरों का दल खिमलोगा ग्लेशियर होते हुए छितकुल के लिए रवाना हुआ था। खिमलोगा ग्लेशियर क्षेत्र में रोप रैपलिंग के दौरान हुए हादसे में एक ट्रेकर की मौत हो गई थी जबकि चार लोग दर्रे में फंस गए थे। तो इन्हें आईटीबीपी व किन्नौर प्रशासन ने सकुशल बचाया। इससे पूर्व में उत्तरकाशी व किन्नौर को जोड़ने वाले दर्रों में ट्रेकिंग के दौरान हादसे हो चुके हैं जिन्हें देखते हुए किन्नौर के उपायुक्त आबिद हुसैन ने उत्तरकाशी और किन्नौर (हिमाचल) को जोड़ने वाले ट्रेकों को तत्काल प्रभाव से प्रतिबंधित कर दिया है।
वन विभाग को भेजा
जिला प्रशासन उत्तरकाशी को भी भेजा गया है। पत्र में स्पष्ट लिखा गया है कि ट्रेकों पर हो रही मौतों को देखते हुए यह निर्णय लिया गया है। वहीं जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी देवेंद्र पटवाल ने बताया कि किन्नौर प्रशासन का पत्र वन विभाग को भेज दिया गया है। जिला प्रशासन उत्तरकाशी की ओर से किसी भी ट्रेक पर कोई प्रतिबंध नहीं है। यदि किन्नौर प्रशासन अपने क्षेत्र में आने की अनुमति प्रदान करेगा तो यहां से ट्रैकरों को रोका नहीं जाएगा।