जिलाधिकारी डॉ. मेहरबान सिंह बिष्ट ने यमुनोत्री क्षेत्र का दौरा कर चारधाम यात्रा की तैयारियों का निरीक्षण किया। जिलाधिकारी ने श्रद्धालुओं की सुविधाओं के लिए सभी जरूरी व्यवस्थाएं चाक-चौबंद बनाए रखने के निर्देश देते हुए कहा चारधाम यात्रा को सुगम, सुरक्षित व सुविधाजनक बनाने लिए यात्रा व्यवस्था से जुड़े विभागों व संगठनों को निरंतर जुटे रहना होगा।
तीर्थयात्री यहां से अच्छा अनुभव लेकर जांए और यात्रा का स्वरूप अधिक बेहतर व व्यापक हो सके। जिलाधिकारी ने घोडे़-खच्चरों, डंडी-कंडी की निर्धारित दरों और रोटेशन की व्यवस्था को सख्ती से लागू किए जाने के साथ ही प्लास्टिक कूड़ा के नियंत्रण व प्रबंधन के लिए क्यूआर कोड आधारित डिपोजिट व्यवस्था को भी प्रभावी तरीके से क्रियान्वित किए जाने पर जोर दिया।
जिलाधिकारी ने कहा कि सेवाओं व वस्तुओं की अधिक कीमत वसूलने और कूड़ा फैलाने के मामले में सख्ती कार्यवाही सुनिश्चित की जाएगी। मंदिर समिति एवं स्थानीय लोगों व व्यापारियों सेे भी इन व्यवस्थाओं में सहयोग करने की अपील करते हुए जिलाधिकारी ने कहा कि इससे हमारे क्षेत्र की बेहतर छवि बनेगी।
जानकीचट्टी सहित यमुनोत्री यात्रा मार्ग के विभिन्न पड़ावों पर अपने निरीक्षण के दौरान जिलाधिकारी ने यात्रियों की सुविधा के लिए किए गए इंतजामों, यात्री पंजीकरण केन्द्र, स्वास्थ्य सुविधाओं, पेयजल, विद्युत, पार्किंग, सफाई एवं टॉयलेट्स व्यवस्था का निरीक्षण करने के साथ ही जानकीचट्टी में अधिकारियों, मंदिर समिति के पदाधिकारियों एवं स्थानीय जन-प्रतिनिधियों के साथ बैठक कर यात्रा को लेकर की जा रही तैयारियों की समीक्षा की।
जिलाधिकारी ने जानकीचट्टी पार्किंग को अतिक्रमणमुक्त बनाए रख इसका बेहतर प्रबंधन व संचालन किए जाने की हिदायत दी। उन्होंने विद्युत विभाग को यमुनोत्री धाम एवं जानकीचट्टी में स्थापित की जा रही हाईमास्ट लाईट को यात्रा प्रारंभ होने से पूर्व संचालित करने के साथ ही जानकीचट्टी एवं यात्रा मार्ग पर अतिरिक्त स्ट्रीट लाईट्स लगाने को कहा। पेयजल व्यवस्थाओं तथा वाटर एटीएम का निरीक्षण करते हुए जिलाधिकारी ने सभी स्थानों पर जलापूर्ति सुचारू बनाए रखने और अनुरक्षण के लिए निरंतर कार्मिकों को तैनात रखने के भी निदेश दिए।
जिलाधिकारी ने भीड़ नियंत्रण व घोड़ा खच्चरों हेतु प्रीपेड़ काउंटर तथा सूचनाओं के प्रसारण के लिए एनाउन्समेण्ट सिस्टम का नियमित संचालन करने के निर्देश देते हुए कहा कि इन स्थानों पर यात्रियों के लिए सभी आवश्यक सुविधाओं को हर समय सुचारू बनाए रखा जाय।
श्री यमुनोत्री धाम तथा जानकीचट्टी व खरसाली सहित सभी पड़ावों पर सफाई व्यवस्था पर विशेष ध्यान दिए जाने पर जोर देते हुए जिलाधिकारी ने सुलभ इंटरनेशनल व जिला पंचायत के अधिकारियों को क्षेत्र में रहकर सफाई इंतजामों की निगरानी करने को कहा। रास्ते में पड़े कूड़ा व घोड़े खच्चरों की लीद के निस्तारण हेतु प्रतिदिन निरन्तर सफाई की जाय। पैदल मार्ग पर जगह-जगह उचित स्थानों एवं ढाबों पर डस्टबिन आवश्यक रूप से रखवाये जायें।
जिलाधिकारी ने जानकीचट्टी में घोड़े खच्चरों का स्वास्थ्य परीक्षण, पंजीकरण की व्यवस्था को निरंतर जारी रखने के साथ ही बीमा की व्यवस्था किए जाने के भी निर्देश दिए। उन्होंने घोड़े खच्चरों अच्छा चारा देने व उचित देखभाल करने हेतु घोड़ा-खच्चर स्वामियों को जागरूक किए जाने के साथ ही यमुनोत्री पैदल मार्ग पर घोड़े-खच्चरों के लिए गर्म पानी हेतु बनाई गई चरियांें एवं गीजरों को नियमित रूप से संचालित किए जाने की हिदायत दी। जिलाधिकारी ने कहा कि यात्रा के दौरान मृत होने वाले घोड़ा-खच्चरों के शव तत्काल नियमानुसार गढ्ढा खोदकर दफनाया जाय, जिससे मार्ग पर संक्रामक बीमारी का खतरा न हो।
जिलाधिकारी ने मौके पर उपस्थित अपर मुुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. आरसी आर्य को निर्देशित किया कि चिकित्सकों एवं पैरामेडीकल स्टाफ निरंतर अस्पतालों एवं मेडीकल रिलीफ पोस्ट पर उपलब्ध रहें और ऑक्सीजन सहित सभी आवश्यक दवाओं व उपकरणों की हर समय उपलब्धता सुनिश्चित की जाय। एसीएमओ ने बताया कि इस यात्रा के लिए अलग से विशेषज्ञ चिकित्सक की तैनाती की गई है और यात्रा व्यवस्था के लिए अन्य स्थानों से भेजे गए चिकित्सक यहॉ पहूुच चुके हैं।
इस अवसर पर उप जिलाधिकारी बड़कोट मुकेश रमोला, पुलिस उपाधीक्षक एसएस भंडारी, यमुनोत्री मंदिर समिति के अध्यक्ष पवन उनियाल, पुरोहित महासभा के अध्यक्ष पुरूषोत्तम उनियाल, मुख्य पशु चिकित्साधिकारी डा.सतीश जोशी, एसीएमओ डा. आरसी आर्य, अधिशासी अभियंता लोनिवि एमएस धर्मसत्तू, अधिशासी अभियंता एनएच राजेश पंत, अधिशासी अभियंता जल संस्थान विनोद पाण्डे, अधिशासी अभियंता विद्युत बड़कोट, साहसिक खेल अधिकारी मो. अली खान सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे।